Lucknow, 15 सितंबर . Chief Minister योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश ‘विकसित यूपी एट 2047’ के विजन की ओर बढ़ते हुए परिवहन और कनेक्टिविटी के क्षेत्र में अभूतपूर्व बदलाव का साक्षी बन रहा है. पिछले साढ़े आठ वर्षों में जिस तेजी से सड़क, एक्सप्रेसवे और एविएशन सेक्टर में प्रगति हुई है, उसने न केवल प्रदेश की रफ्तार बढ़ाई है, बल्कि इसे राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर निवेश और विकास का नया केंद्र बनाया है.
2017 से पहले उत्तर प्रदेश में सड़क और एविएशन अवसंरचना विकास की रफ्तार बेहद धीमी थी. Prime Minister ग्रामीण सड़क योजना के अंतर्गत सड़क लंबाई 2013-14 में 51,549 किलोमीटर से बढ़कर 2016-17 में मात्र 56,846 किलोमीटर हो सकी. हवाई कनेक्टिविटी भी सीमित थी और 17 वर्षों (1999 से 2016 तक) में विमान यात्रियों की संख्या में केवल 55 लाख की वृद्धि हुई थी.
प्रदेश में उस समय मात्र तीन एक्सप्रेसवे और गिने-चुने हवाई अड्डे संचालित थे. Chief Minister योगी की Government ने 2017 के बाद सड़क, हवाई और जल परिवहन में समन्वित दृष्टिकोण के साथ ठोस कदम उठाए. Prime Minister ग्राम सड़क योजना के तहत सड़क लंबाई 2024-25 तक 77,425 किलोमीटर तक पहुंच गई. वहीं, एक्सप्रेसवे नेटवर्क में उत्तर प्रदेश देश में सबसे आगे निकलते हुए 22 एक्सप्रेसवे का जाल बिछाने के महाअभियान में जुटी हुई है. एविएशन सेक्टर में भी यूपी ने छलांग लगाई और 12 घरेलू तथा 4 अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे संचालित हो चुके हैं.
उत्तर प्रदेश अब ‘एक्सप्रेसवे प्रदेश’ के रूप में जाना जा रहा है. 1949-50 में जहां कोई एक्सप्रेसवे नहीं था, वहीं 2016-17 तक यह संख्या केवल तीन तक पहुंच सकी थी. लेकिन, 2025-26 तक यह बढ़कर 22 हो गई है. इसमें संचालित और निर्माणाधीन दोनों शामिल हैं. पूर्वांचल एक्सप्रेसवे, बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे, यमुना एक्सप्रेसवे, आगरा-Lucknow एक्सप्रेसवे और गोरखपुर लिंक एक्सप्रेसवे जैसे प्रोजेक्ट न केवल आंतरिक कनेक्टिविटी बढ़ा रहे हैं, बल्कि लॉजिस्टिक हब के रूप में यूपी की स्थिति को मजबूत कर रहे हैं.
उत्तर प्रदेश में एक्सप्रेसवे नेटवर्क को व्यापक बनाने के लिए कई नए प्रोजेक्ट शुरू हो गए हैं. इनमें गंगा एक्सप्रेसवे के साथ ही चित्रकूट लिंक एक्सप्रेसवे, Lucknow लिंक एक्सप्रेसवे, फर्रुखाबाद लिंक एक्सप्रेसवे, जेवर लिंक एक्सप्रेसवे, झांसी लिंक एक्सप्रेसवे, विंध्य एक्सप्रेसवे, विंध्य-पूर्वांचल लिंक एक्सप्रेसवे, मेरठ-हरिद्वार लिंक एक्सप्रेसवे (मुजफ्फरनगर के रास्ते) और चित्रकूट-रीवा लिंक एक्सप्रेसवे शामिल हैं. इन परियोजनाओं के पूरा होने के बाद प्रदेश का सड़क नेटवर्क न केवल और मजबूत होगा, बल्कि पड़ोसी राज्यों से भी कनेक्टिविटी बेहतर होगी.
2004-05 में उत्तर प्रदेश का राष्ट्रीय राजमार्ग नेटवर्क 5,599 किलोमीटर था, जो 2023-24 तक बढ़कर 12,292 किलोमीटर हो गया. इस दोगुनी से अधिक वृद्धि ने राज्य के भीतर व्यापार, माल ढुलाई और औद्योगिक विकास को नई गति दी है. इससे न केवल रसद लागत कम हुई है, बल्कि यूपी उत्तर India में एक रणनीतिक ट्रांजिट हब बन गया है.
1950 में जहां प्रदेश में एक भी हवाई अड्डा नहीं था, वहीं 2025 तक इनकी संख्या 16 (पांच निर्माणाधीन सहित) हो चुकी है. इसमें 12 घरेलू और 4 अंतरराष्ट्रीय एयरपोर्ट शामिल हैं. विशेष रूप से जेवर अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा आने वाले समय में एशिया के सबसे बड़े हवाई अड्डों में शुमार होगा और कार्गो तथा ट्रांजिट हब के रूप में उत्तर प्रदेश को नई पहचान देगा.
2017 से पहले 17 वर्षों में हवाई यात्रियों की संख्या में 55 लाख की वृद्धि हुई थी, जबकि पिछले आठ वर्षों में यह वृद्धि 82 लाख तक पहुंच गई. 2025 में विमान यात्रियों की संख्या 1.42 करोड़ तक अनुमानित है. इस तेजी ने यूपी को विमानन क्षेत्र में नई उड़ान दी है.
प्रदेश में पूर्व से पश्चिम की कनेक्टिविटी में क्रांतिकारी बदलाव के बाद अब योगी Government 2030 तक उत्तर-दक्षिण कनेक्टिविटी का विशाल नेटवर्क खड़ा करने की दिशा में काम कर रही है. सभी जिला मुख्यालयों को एक्सप्रेसवे से जोड़ने, नेपाल सीमा पर बहुउद्देशीय ट्रांजिट हब विकसित करने और प्रमुख पर्यटन स्थलों पर विश्वस्तरीय रोपवे निर्माण की योजना है.
Chief Minister योगी का प्रमुख विजन है कि 2047 तक उत्तर प्रदेश में हर मंडल का अपना एक विश्वस्तरीय एयरपोर्ट हो. सभी 75 जिलों को एक्सप्रेसवे और एयर कनेक्टिविटी से जोड़ने का लक्ष्य रखा गया है. इसके साथ ही ग्रीन स्मार्ट हाईवे, एयर कार्गो हब, हेलिपोर्ट और आधुनिक एविएशन इकोसिस्टम से उत्तर प्रदेश को एक ग्लोबल कनेक्टिविटी सेंटर के रूप में स्थापित करने की योजना है.
–
एसके/एबीएम
You may also like
पक्का घर का सपना अब सच! PM Awas Yojana में 5 मिनट में करें आवेदन, सीधे खाते में आएंगे 1.2 लाख
सिर्फ 6.6 रुपये रोज में 60GB डेटा: बीएसएनएल का नया प्लान ला रहा तूफान!
राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इसराइल-हमास शांति योजना के पहले चरण की सफलता की घोषणा की
आयकर विभाग की बड़ी कार्रवाई: रेलवे और NHAI ठेकेदार पर छापे
भारत और ब्रिटेन के संयुक्त बयान में पहलगाम हमले को लेकर क्या कहा गया?