पटना: भारतीय जनता पार्टी के रणनीतिकार अमित शाह के लिए बिहार विधासनसभा चुनाव 2025 एक गंभीर चुनौती बन गया है। बीजेपी के सूत्र बताते हैं कि जीत के समीकरण का आंकलन करते अमित शाह इस बार बिहार विधानसभा चुनाव में कुर्मी, धानुक और कुशवाहा जाति के उम्मीदवारों को ज्यादा तरजीह देने जा रहे हैं। अमित शाह के इस फैसले में भविष्य की राजनीति के सूत्र तो हैं ही, साथ ही कुर्मी, धानुक, कुशवाहा उम्मीदवारों के द्वारा 100 फीसदी स्ट्राइक रेट देने का इस चुनाव में इनाम देने जा रहे हैं। आइए जानते हैं क्यों है इन तीन जातियों पर अमित शाह मेहरबान!
वर्ष 2020 के चुनाव में 100 फीसदी स्ट्राइक
विधानसभा चुनाव 2020 में बीजेपी के रणनीतिकारों ने कुर्मी, कुशवाहा और धानुक जाति से छह उम्मीदवारों को उतारा था। इनमें कुर्मी से दो, कुशवाहा से तीन और धानुक से एक उम्मीदवार उतारे थे। इन छह उम्मीदवारों ने 100 फीसदी परिणाम दे कर बीजेपी के रणनीतिकारों का विश्वास जीता। ये सीटें थी.....
हाजीपुर विधानसभावर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में हाजीपुर से बीजेपी ने कुर्मी जाति से अवधेश सिंह को उतारा था।उस चुनाव में बीजेपी उम्मीदवार अवधेश सिंह ने राजद के देव कुमार चौरसिया को 2990, मतों से पराजित किया था। अवधेश सिंह गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय के रिश्तेदार हैं।
अमनौर विधानसभा
वर्ष 2020 में बीजेपी ने अमनौर विधानसभा से कुर्मी जाति से आने वाले कृष्ण कुमार मंटू की चुनावी जंग में उतारा था। तब बीजेपी उम्मीदवार मंटू ने राजद के सुनील कुमार को 3681 मत से पराजित किया था। हालांकि मंटू जेडीयू से ही बीजेपी में चुनाव लड़ने आए थे।
बछबाड़ा विधानसभा
वर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने बछबाड़ा विधानसभा से धानुक जाति के सुरेंद्र मेहता को उम्मीदवार बनाया। इन्होंने सीपीआई के अवधेश राय को 484 मत से परास्त किया था। सुरेंद्र राय भी पहले सीपीआई में थे। ये बेगूसराय विधासनसभा से उप चुनाव में बीजेपी के उम्मीदवार बन कर जीते थे।
बिहारशरीफ विधानसभा
बिहारशरीफ से बीजेपी ने वर्ष 2020 के चुनावी जंग में कुशवाहा जाति के डॉ. सुनील कुमार को उतारा था। डॉ. कुशवाहा ने राजद के सुनील कुमार को लगभग 15 हजार मतों से परास्त किया था। डॉ सुनील कुमार भी जदयू से बीजेपी में आए थे।
रक्सौल विधानसभा
रक्सौल विधानसभा से बीजेपी ने कुशवाहा उम्मीदवार प्रमोद सिन्हा को चुनाव जंग 2020 में उतारा था। बीजेपी उम्मीदवार प्रमोद सिन्हा ने रक्सौल से कांग्रेस उम्मीदवार रामबाबू यादव को चालीस हजार से ज्यादा मतों से हराया था। प्रमोद सिन्हा भी जनता दल (यू) से बीजेपी में आए थे।
प्राणपुर विधानसभा
प्राणपुर विधानसभा से भी बीजेपी ने कुशवाहा जाति से निशा सिंह को वर्ष 2020 के चुनावी जंग में उतारा था। बीजेपी उम्मीदवार निशा सिंह ने कांग्रेस के तौकीर आलम को 2972 मतों से पराजित किया था।
वर्ष 2025 में दिए जाएंगे ज्यादा उम्मीदवार
बीजेपी के सूत्रों की माने तो वर्ष 2025 की 'चुनावी जंग' में इस बार कुर्मी, धानुक और कुशवाहा से ज्यादा लोगों को टिकट मिलेगी। कहा जाता है कि बीजेपी के रणनीतिकारों ने कई सीटों का मूल्यांकन किया है। ऐसे सीटों में दानापुर, अरवल, कुर्था, सूर्यगढ़ा और मुंगेर प्रमुखता से शामिल है। इसके अलावा भी कई सीटें है, जिनका मूल्यांकन अभी हो रहा है।
भविष्य पर भी है बीजेपी की नजर
बीजेपी का विधानसभा चुनाव 2025 में कुर्मी, कुशवाहा और धानुक जाति से विधायकों की संख्या बढ़ाने के पीछे भविष्य की राजनीति का भी खेल छुपा है। अभी तक तो तय है कि कुर्मी, कुशवाहा और धानुक का अधिकांश वोट मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जिधर रहेंगे, उधर ज्यादा जाएगा। बीजेपी इस लाइन पर चल रही है कि राजनीति से जैसे ही नीतीश कुमार विमुख होते हैं तो इन वोटों को बीजेपी के पक्ष में गोलबंद किया जाए। और इस जाति से जीतने ज्यादा विधायक होंगे उतना ही कुर्मी, कुशवाहा और धानुक का वोट ट्रांसफर करने में आसानी होगी।
वर्ष 2020 के चुनाव में 100 फीसदी स्ट्राइक
विधानसभा चुनाव 2020 में बीजेपी के रणनीतिकारों ने कुर्मी, कुशवाहा और धानुक जाति से छह उम्मीदवारों को उतारा था। इनमें कुर्मी से दो, कुशवाहा से तीन और धानुक से एक उम्मीदवार उतारे थे। इन छह उम्मीदवारों ने 100 फीसदी परिणाम दे कर बीजेपी के रणनीतिकारों का विश्वास जीता। ये सीटें थी.....
हाजीपुर विधानसभावर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में हाजीपुर से बीजेपी ने कुर्मी जाति से अवधेश सिंह को उतारा था।उस चुनाव में बीजेपी उम्मीदवार अवधेश सिंह ने राजद के देव कुमार चौरसिया को 2990, मतों से पराजित किया था। अवधेश सिंह गृह राज्य मंत्री नित्यानंद राय के रिश्तेदार हैं।
अमनौर विधानसभा
वर्ष 2020 में बीजेपी ने अमनौर विधानसभा से कुर्मी जाति से आने वाले कृष्ण कुमार मंटू की चुनावी जंग में उतारा था। तब बीजेपी उम्मीदवार मंटू ने राजद के सुनील कुमार को 3681 मत से पराजित किया था। हालांकि मंटू जेडीयू से ही बीजेपी में चुनाव लड़ने आए थे।
बछबाड़ा विधानसभा
वर्ष 2020 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने बछबाड़ा विधानसभा से धानुक जाति के सुरेंद्र मेहता को उम्मीदवार बनाया। इन्होंने सीपीआई के अवधेश राय को 484 मत से परास्त किया था। सुरेंद्र राय भी पहले सीपीआई में थे। ये बेगूसराय विधासनसभा से उप चुनाव में बीजेपी के उम्मीदवार बन कर जीते थे।
बिहारशरीफ विधानसभा
बिहारशरीफ से बीजेपी ने वर्ष 2020 के चुनावी जंग में कुशवाहा जाति के डॉ. सुनील कुमार को उतारा था। डॉ. कुशवाहा ने राजद के सुनील कुमार को लगभग 15 हजार मतों से परास्त किया था। डॉ सुनील कुमार भी जदयू से बीजेपी में आए थे।
रक्सौल विधानसभा
रक्सौल विधानसभा से बीजेपी ने कुशवाहा उम्मीदवार प्रमोद सिन्हा को चुनाव जंग 2020 में उतारा था। बीजेपी उम्मीदवार प्रमोद सिन्हा ने रक्सौल से कांग्रेस उम्मीदवार रामबाबू यादव को चालीस हजार से ज्यादा मतों से हराया था। प्रमोद सिन्हा भी जनता दल (यू) से बीजेपी में आए थे।
प्राणपुर विधानसभा
प्राणपुर विधानसभा से भी बीजेपी ने कुशवाहा जाति से निशा सिंह को वर्ष 2020 के चुनावी जंग में उतारा था। बीजेपी उम्मीदवार निशा सिंह ने कांग्रेस के तौकीर आलम को 2972 मतों से पराजित किया था।
वर्ष 2025 में दिए जाएंगे ज्यादा उम्मीदवार
बीजेपी के सूत्रों की माने तो वर्ष 2025 की 'चुनावी जंग' में इस बार कुर्मी, धानुक और कुशवाहा से ज्यादा लोगों को टिकट मिलेगी। कहा जाता है कि बीजेपी के रणनीतिकारों ने कई सीटों का मूल्यांकन किया है। ऐसे सीटों में दानापुर, अरवल, कुर्था, सूर्यगढ़ा और मुंगेर प्रमुखता से शामिल है। इसके अलावा भी कई सीटें है, जिनका मूल्यांकन अभी हो रहा है।
भविष्य पर भी है बीजेपी की नजर
बीजेपी का विधानसभा चुनाव 2025 में कुर्मी, कुशवाहा और धानुक जाति से विधायकों की संख्या बढ़ाने के पीछे भविष्य की राजनीति का भी खेल छुपा है। अभी तक तो तय है कि कुर्मी, कुशवाहा और धानुक का अधिकांश वोट मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जिधर रहेंगे, उधर ज्यादा जाएगा। बीजेपी इस लाइन पर चल रही है कि राजनीति से जैसे ही नीतीश कुमार विमुख होते हैं तो इन वोटों को बीजेपी के पक्ष में गोलबंद किया जाए। और इस जाति से जीतने ज्यादा विधायक होंगे उतना ही कुर्मी, कुशवाहा और धानुक का वोट ट्रांसफर करने में आसानी होगी।
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